पंजाब विधानसभा की कार्यवाही को बोलने और सुनने में असमर्थ लोगों तक पहुंचाने के लिए विधानसभा में भी लागू करेंगे सांकेतिक भाषा – डॉ. बलजीत कौर

कहा, बोलने और सुनने में असमर्थ लोगों को न्याय दिलाने के लिए पंजाब पुलिस को भी सांकेतिक भाषा का प्रशिक्षण दिया जाएगा

पटियाला में हुआ अंतरराष्ट्रीय सांकेतिक भाषा दिवस का राज्य स्तरीय आयोजन

हर इंसान में कोई न कोई अपंगता प्रकृति का नियम, इसलिए बोल या सुन न पाना प्रगति के रास्ते में रुकावट नहीं – डॉ. बलजीत कौर

कहा, सांकेतिक भाषा को उचित प्राथमिकता देना भी पंजाब सरकार की प्राथमिकताओं में शामिल

चंडीगढ़/पटियाला, 23 सितंबर: Prime Punjab


पंजाब की सामाजिक सुरक्षा, महिला एवं बाल विकास मंत्री डॉ. बलजीत कौर ने कहा कि बोलने और सुनने में असमर्थ लोग भी हमारे समाज का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं, इसलिए मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में पंजाब सरकार सांकेतिक भाषा को भी पूरी प्राथमिकता दे रही है। वह पटियाला में अंतर्राष्ट्रीय सांकेतिक भाषा दिवस के राज्य स्तरीय कार्यक्रम में शामिल होने आए थे।

इस मौके पर डॉ. बलजीत कौर ने बताया कि जल्द ही पंजाब विधानसभा के स्पीकर की सलाह से सदन की कार्यवाही को बोलने और सुनने में असमर्थ लोगों तक पहुंचाने के लिए विधानसभा में भी सांकेतिक भाषा को लागू किया जाएगा। इसके अतिरिक्त, ऐसे लोगों को न्याय दिलाने के लिए पंजाब पुलिस को भी सांकेतिक भाषा का प्रशिक्षण दिया जाएगा।

डॉ. बलजीत कौर ने कहा कि प्राकृतिक नियम के अनुसार हर इंसान में कोई न कोई अपंगता होती है और यह किसी एक वर्ग तक सीमित नहीं है, इसलिए किसी भी तरह से पिछड़े लोगों को प्रोत्साहित कर आगे बढ़ाना हम सबका कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि जो लोग खामोश हैं, उनके अंदर भी एक बड़ा तूफान होता है और उनकी छिपी हुई प्रतिभा को पहचान कर उन्हें आगे लाया जाएगा, और पंजाब सरकार इस दिशा में दृढ़ता से काम कर रही है। उन्होंने कहा कि शारीरिक रूप से किसी अंग की कमी से व्यक्ति अधूरा नहीं होता, बल्कि मानसिक रूप से अधूरा होना बड़ी कमी है।

सामाजिक सुरक्षा मंत्री ने कहा कि एक-दूसरे को समझने के लिए भाषा एक माध्यम है, लेकिन प्यार, मोहब्बत, सद्भावना और दया सबसे बड़ी भाषा है। उन्होंने कहा कि हाशिए पर धकेले गए लोग तभी बनते हैं जब उनकी बात नहीं सुनी जाती, इसलिए ऐसे दबे-कुचले लोगों को समाज की मुख्य धारा में लाने के लिए पंजाब सरकार महत्वपूर्ण कदम उठा रही है। उन्होंने कहा कि बोलने और सुनने में असमर्थ लोग, विशेषकर ऐसे बच्चे, इसे अपनी प्रगति के मार्ग में बाधा न समझें बल्कि उनके लिए सांकेतिक भाषा नए दरवाजे खोलेगी और वे जो चाहें वह कर सकते हैं।

विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत किए गए कार्यक्रमों की प्रशंसा करते हुए डॉ. बलजीत कौर ने कहा कि शारीरिक रूप से चुनौतीपूर्ण बच्चों को आगे बढ़ने के लिए अनुकूल माहौल प्रदान कर पटियाला जिले ने पंजाब के बाकी जिलों के लिए एक आदर्श पेश किया है।

इस मौके पर डिप्टी कमिश्नर डॉ. प्रीति यादव ने कैबिनेट मंत्री का स्वागत किया और पटियाला जिला प्रशासन द्वारा बोलने और सुनने में असमर्थ लोगों के लिए किए जा रहे प्रयासों के बारे में जानकारी साझा की। नोएडा डेफ सोसाइटी की रविंदर कौर ने अंतरराष्ट्रीय सांकेतिक भाषा के इतिहास के बारे में बताते हुए पंजाब सरकार द्वारा इस अंतरराष्ट्रीय दिवस के मौके पर पटियाला में राज्य स्तरीय कार्यक्रम आयोजित करने के लिए मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान का धन्यवाद किया।

इस अवसर पर पटियाला स्कूल फॉर द डेफ, वाणी इंटीग्रेटेड स्कूल फॉर हियरिंग इम्पेयर्ड, नोएडा डेफ सोसाइटी और स्पीकिंग हैंड्स सोसाइटी राजपुरा के विद्यार्थियों ने रंगारंग कार्यक्रम प्रस्तुत किए। इस अवसर पर इम्प्रूवमेंट ट्रस्ट के चेयरमैन मेघ चंद शेरमाजरा, जिला योजना समिति के चेयरमैन जसवीर सिंह जस्सी सोहियांवाला, एसएसपी डॉ. नानक सिंह, एडीसी (शहरी विकास) नवरीत कौर सेखों, एसडीएम अरविंद कुमार, जिला सामाजिक सुरक्षा अधिकारी जोबनदीप कौर चीमा, जिला कार्यक्रम अधिकारी प्रदीप सिंह ढिल्लों, सोसाइटी फॉर वेलफेयर ऑफ हैंडीकैप्ड के सचिव कर्नल करमिंदर सिंह, पटियाला एसोसिएशन ऑफ डेफ के जगदीप सिंह के अलावा पंजाब भर से आए बोलने और सुनने में असमर्थ लोगों ने भी बड़ी संख्या में भाग लिया।